पीईटी परीक्षा फर्जीवाड़ा मामले में अध्यापक गिरफ्तार,
पीईटी परीक्षा फर्जीवाड़ा मामले में अध्यापक गिरफ्तार, प्रयागराज पुलिस ने विद्यालय से दबोचा आरोपी
सुखपुरा (बलिया)।
प्रयागराज जनपद के जार्ज टाउन थाना पुलिस ने सोमवार की सुबह बलिया जिले के सुखपुरा थाना क्षेत्र अंतर्गत कम्पोजीट विद्यालय हरिपुर से एक अध्यापक को गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तार किए गए अध्यापक को पुलिस अपने साथ प्रयागराज लेकर चली गई। इस कार्रवाई से शिक्षा विभाग के साथ-साथ पूरे क्षेत्र में हड़कंप मच गया।
प्रयागराज से आई पुलिस टीम का नेतृत्व कर रहे उपनिरीक्षक अश्वनी कुमार ने बताया कि बसंतपुर निवासी अध्यापक प्रेमशंकर सिंह उर्फ प्रेम सागर सिंह पुत्र स्व. सुदर्शन सिंह के विरुद्ध भारतीय न्याय संहिता की धारा 182/25, 319(2), 318(4), 61(2), 338(2), 340(2) तथा उत्तर प्रदेश सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधनों का निवारण) अधिनियम की धारा 9/13(5) के तहत मुकदमा पंजीकृत है। यह मामला प्रारंभिक अर्हता परीक्षा (पीईटी) में हुए बड़े फर्जीवाड़े से जुड़ा हुआ है।
बताया गया कि पुलिस टीम बलिया पहुंचने के बाद हनुमानगंज चौकी से एक सिपाही को साथ
लेकर सीधे कम्पोजीट विद्यालय हरिपुर पहुंची। उस समय आरोपी अध्यापक विद्यालय के गेट पर ही मौजूद था। उपनिरीक्षक ने उससे नाम पूछकर दूर खड़ी पुलिस गाड़ी के पास बातचीत के बहाने ले गए और वहीं से उसे हिरासत में लेकर प्रयागराज रवाना हो गए। गिरफ्तारी के दौरान किसी तरह का हंगामा नहीं हुआ।
गौरतलब है कि सितंबर 2025 में प्रयागराज के जगत तारन गर्ल्स इंटर कॉलेज परीक्षा केंद्र पर आयोजित पीईटी परीक्षा के दौरान गंभीर अनियमितता सामने आई थी। सुबह की पहली पाली में बलिया निवासी अभ्यर्थी शुभम कुमार की जगह दूसरा युवक परीक्षा देने पहुंच गया था। बायोमैट्रिक जांच में संदेह उत्पन्न होने पर लखनऊ स्थित कंट्रोल रूम को सूचना दी गई थी, लेकिन आरोप है कि केंद्र पर ड्यूटी पर तैनात कर्मचारी प्रियंका ने जांच को सही बताते हुए युवक को परीक्षा में बैठने की अनुमति दे दी।
प्रथम पाली की परीक्षा समाप्त होने के कई घंटे बाद जब वास्तविक अभ्यर्थी के स्थान पर दूसरे युवक के परीक्षा देने की पुष्टि हुई, तो केंद्र पर अफरा-तफरी मच गई। हालांकि तब तक ओएमआर शीट सील हो चुकी थी। इस मामले में स्टैटिक मजिस्ट्रेट अमरेश चंद्र और केंद्र व्यवस्थापक डॉ. नंदिनी तिवारी की तहरीर पर जार्ज टाउन थाने में एफआईआर दर्ज कराई गई थी।
डीसीपी नगर अभिषेक भारती ने बताया कि विवेचना के दौरान इस फर्जीवाड़े में अध्यापक प्रेमशंकर सिंह की संलिप्तता भी सामने आई, जिसके आधार पर यह गिरफ्तारी की गई। वहीं, विद्यालय के प्रधानाध्यापक संतोष कुमार गुप्ता ने पूरे घटनाक्रम की सूचना मोबाइल फोन के माध्यम से एसडीआई बेरुआरबारी को दे दी है। पुलिस अब मामले की गहन जांच में जुटी हुई है।


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