जननायक कर्पूरी ठाकुर सामाजिक न्याय के मसीहा थे
सुखपुरा(बलिया)।
महाराजा सुहेलदेव के जयंती के अवसर पर सुखपुरा में आयोजित समारोह में उत्तर प्रदेश सरकार के मंत्री अनिल राजभर को एक पत्रक देकर नाइ समाज ने जनपद के किसी चौराहे पर जननायक कर्पूरी ठाकुर की आदमकद की मूर्ति व उनके नाम से मार्ग का नाम रखने की लिए पत्र रख दिया। जननायक कर्पूरी ठाकुर सामाजिक न्याय के मसीहा, दलितों, पिछड़ों, शौषितों, वंचितों की बुलंद आवाज छात्र नेता, किसान नेता, स्वतंत्रता संग्राम सेनानी, शिक्षक और देश के कुशल राजनीतिज्ञ थे। जिन्हें भारत सरकार ने 23 जनवरी 2024 को जन्म शताब्दी वर्ष भारत रत्न देने की घोषणा की, तथा उन्हें 30 मार्च 2024 को राष्ट्रपति महोदय द्वारा सर्वोच्च अलंकार मरणोपरांत प्रदान किया गया। वह स्वतंत्र भारत में 1952 के प्रथम आम चुनाव में बिहार राज्य के ताजपुर विधानसभा से प्रथम बार निर्वाचित हुए ।1967 में वित्त एवं शिक्षा मंत्री तथा 22 दिसंबर 1970 को प्रथम बार मुख्यमंत्री और दूसरी बार 24 जून 1977 को पुनः मुख्यमंत्री बने । लोकसभा के सदस्य रहे, तथा बिहार नेता प्रतिपक्ष भी रहे। उन्होंने अपने शासनकाल में हिंदी भाषा को अनिवार्य किया। तथा 26% आरक्षण जिसमें 12% अत्यंत पिछड़ा वर्ग, 8% पिछड़ा वर्ग ,और तीन प्रतिशत महिला तथा तीन प्रतिशत गरीब सवर्णो को देकर संविधान को धरातल पर उतरते हुए। सामाजिक न्याय स्थापित किया।। ईमानदारी, सादगी ,व जन सेवा में समर्पित होने के कारण उन्हें जननायक कहा गया ।जो कि पूरे देश में जननायक के नाम से प्रसिद्ध हुए। विगत दिनों उत्तर प्रदेश सरकार में मान्य केशव प्रसाद मौर्य उपमुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश शासन ने भी जननायक कर्पूरी ठाकुर जी के नाम पर प्रत्येक जनपद में सड़क का नामकरण करने का आश्वासन दिया था। इसी परिपेक्ष में ऑल इंडिया महापदमनंद कम्युनिटी एजुकेटेड एसोसिएशन उत्तर प्रदेश जनपद बलिया इकाई के अध्यक्ष नथुनी राम नंदवंशी व सुनील ठाकुर महासचिव ने एक पत्र अनिल राजभर मंत्री श्रम एवं सेवा नियोजन उत्तर प्रदेश सरकार को देते हुए जिला मुख्यालय बलिया में जगदीशपुर चौराहा या रोडवेज चौराहा या किसी सड़क का नामकरण करते हुए उसी चौराहे पर उनकी आदमकद की मूर्ति स्थापित करने की पुरजोर मांग किया है।
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